लखनऊ, 10 सितम्बर
लखनऊ में दुखद इमारत ढहने की जांच से पता चला है कि तीसरी मंजिल का निर्माण नियमों का उल्लंघन करके अवैध रूप से किया गया था क्योंकि प्राधिकरण ने केवल दो मंजिलों के निर्माण की अनुमति दी थी।
7 सितंबर को लखनऊ के ट्रांसपोर्ट नगर इलाके में एक तीन मंजिला इमारत अप्रत्याशित रूप से ढह जाने से आठ लोगों की मौत हो गई और 28 अन्य घायल हो गए।
उत्तर प्रदेश सरकार ने 8 सितंबर को इमारत ढहने की घटना की जांच के लिए तीन सदस्यीय समिति का गठन किया।
जांच में यह भी पता चला कि बिल्डर को 7 मीटर ऊंची इमारत बनाने की इजाजत थी, लेकिन असल में वह 11 मीटर ऊंची थी।
पीडब्ल्यूडी इंजीनियरों की जांच में बिल्डिंग के कॉलम लोड के मुकाबले कमजोर पाए गए।
ढांचागत डिजाइन में अनियमितता और घटिया निर्माण भी सामने आया है।
एक प्रेस बयान के अनुसार, इमारत ढहने की जांच के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर गठित तीन सदस्यीय समिति की अध्यक्षता गृह विभाग के सचिव संजीव गुप्ता करेंगे, जिन्हें पैनल का अध्यक्ष बनाया गया है।
आवास एवं शहरी नियोजन विभाग के सचिव बलकार सिंह और विजय कनौजिया, मुख्य अभियंता, मध्य क्षेत्र, लोक निर्माण विभाग, लखनऊ, समिति के अन्य दो सदस्य हैं।
बयान में कहा गया है, "जांच समिति से अपेक्षा की जाती है कि वह घटना के कारणों की जांच करेगी और जल्द से जल्द अपनी रिपोर्ट सरकार को सौंपेगी।"