चंडीगढ़, 1 अक्टूबर:
राज्यभर के आई.टी.आई. संस्थानों में दाखिलों में 25 प्रतिशत की बेमिसाल वृद्धि के साथ, पंजाब में व्यावसायिक शिक्षा को महत्वपूर्ण प्रोत्साहन मिला है।
इस संबंध में जानकारी देते हुए तकनीकी शिक्षा मंत्री स.हरजोत सिंह बैंस ने बताया कि इस शैक्षणिक वर्ष के दौरान राज्य के औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों (आई.टी.आई.) में दाखिलों में 25 प्रतिशत की शानदार वृद्धि दर्ज की गई है और दाखिलों की संख्या पिछले वर्ष के 28,000 से बढ़कर अब 35,000 हो गई है।
स.बैंस ने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व वाली राज्य सरकार युवाओं को व्यावसायिक शिक्षा देने के लिए काम कर रही है ताकि बेरोजगारी और प्रवास की समस्या का समाधान किया जा सके। उन्होंने कहा कि हम इस दिशा में मिशन के तहत काम कर रहे हैं, जिसके लिए हमने चालू शैक्षणिक सत्र के दौरान आई.टी.आई. की सीटों में वृद्धि की है और अगले शैक्षणिक सत्र में सीटों की संख्या बढ़ाकर 50,000 की जाएगी।
हरजोत सिंह बैंस ने कहा कि आई.टी.आई में दाखिलों में यह शानदार वृद्धि हमारे युवाओं में कौशल आधारित शिक्षा की बढ़ती मान्यता को दर्शाती है। उन्होंने कहा कि हम यहां नहीं रुकेंगे, क्योंकि अगले दो वर्षों में हमारा लक्ष्य 50,000 दाखिलों का आंकड़ा प्राप्त करना है। उन्होंने यह भी कहा कि हम आई.टी.आई स्नातकों के लिए अधिक से अधिक प्लेसमेंट (रोजगार के अवसर) सुनिश्चित करने के लिए भी प्रतिबद्ध हैं।
उन्होंने बताया कि शैक्षणिक सत्र 2023 से पहले राज्य सरकार द्वारा संचालित आई.टी.आई में 28,000 सीटों में से भी कई सीटें खाली रह जाती थीं। उन्होंने बताया कि हमने पहले यह लक्ष्य रखा था कि शैक्षणिक सत्र 2023 के दौरान आई.टी.आई में 100 प्रतिशत दाखिले सुनिश्चित किए जाएं, जिसके लिए कई उपाय किए गए थे और इसके परिणामस्वरूप हमें इस शैक्षणिक सत्र के दौरान 7,000 सीटें बढ़ानी पड़ीं।
राज्य सरकार की प्रमुख उपलब्धियों का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि पंजाब सरकार ने शैक्षणिक वर्ष 2024-25 के लिए 137 सरकारी आई.टी.आई में सीटों की संख्या 28,880 से बढ़ाकर 35,000 कर दी है। उन्होंने कहा कि आई.टी.आई अब करियर के विभिन्न विकल्प प्रदान करते हुए इंजीनियरिंग और गैर-इंजीनियरिंग समेत 86 ट्रेड्स की पेशकश कर रहे हैं। इसके अलावा, ऐडिटिव मैन्युफैक्चरिंग (3डी प्रिंटिंग), इलेक्ट्रिक व्हीकल मैकेनिक्स, इंडस्ट्रियल रोबोटिक्स, डिजिटल मैन्युफैक्चरिंग और ड्रोन टेक्नोलॉजी जैसे अत्याधुनिक कोर्स भी उपलब्ध कराए गए हैं।
आई.टी.आई में लैंगिक समानता को बढ़ावा देने पर बात करते हुए कैबिनेट मंत्री ने कहा कि सभी ट्रेड्स में महिलाओं के लिए 33 प्रतिशत आरक्षण लागू किया गया है, जिससे व्यावसायिक शिक्षा के क्षेत्र में महिलाओं की भागीदारी बढ़ी है। उन्होंने बताया कि महिला आई.टी.आई में आई.टी.सी लिमिटेड और स्वराज इंजन लिमिटेड जैसी प्रमुख कंपनियों के साथ साझेदारी में कई पायलट कार्यक्रम भी शुरू किए जा रहे हैं, जिनमें इलेक्ट्रिशियन और मैकेनिक डीजल इंजन जैसे इंजीनियरिंग कोर्स शामिल हैं।
भविष्य की योजनाओं का खुलासा करते हुए स.हरजोत सिंह बैंस ने कहा कि राज्य सरकार का लक्ष्य अगले दो वर्षों के दौरान महिला आई.टी.आई में बैठने की क्षमता को 50,000 तक बढ़ाने और अन्य इंजीनियरिंग कोर्स शुरू करने पर केंद्रित है।
मंत्री बैंस ने कहा, "विस्तारित क्षमता और विभिन्न व्यावसायिक पेशकशों के साथ, लैंगिक समानता पर ध्यान केंद्रित करके, पंजाब के युवाओं को भविष्य के लिए आवश्यक कौशल से लैस करना समय की मांग है।"
उन्होंने आगे कहा, "हम अपने राज्य में कौशल के स्तर को बढ़ाने और रोजगार के अवसरों को बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध हैं।"