पटना, 4 जनवरी
बिहार के पूर्णिया जिले के ताराबाड़ी इलाके में पुलिस के साथ मुठभेड़ में 2 लाख रुपये का इनामी वांछित अपराधी सुशील मोची मारा गया।
लूटपाट और आर्म्स एक्ट के उल्लंघन के कई मामलों में वांछित मोची को शुक्रवार रात विशेष कार्य बल (एसटीएफ) और स्थानीय पुलिस द्वारा संयुक्त छापेमारी के बाद मुठभेड़ में मार गिराया गया।
झारखंड और बंगाल में आपराधिक मामलों में वांछित मोची को हाल ही में पूर्णिया सेंट्रल जेल से रिहा किया गया था।
पूर्णिया के पुलिस अधीक्षक (एसपी) कार्तिकेय शर्मा के अनुसार, ताराबाड़ी गांव में मोची की मौजूदगी की सूचना पर कार्रवाई करते हुए पुलिस और एसटीएफ ने छापेमारी की।
शर्मा ने कहा, "जब अपराधी को आत्मसमर्पण करने के लिए कहा गया, तो कानून प्रवर्तन एजेंसियों और मोची के सहयोगियों के बीच मुठभेड़ शुरू हो गई। ऑपरेशन के दौरान मोची मारा गया और आगे की घटना को रोकने के लिए अधिकारियों ने आसपास के इलाके की घेराबंदी कर दी।" पूर्णिया एसपी ने बताया, "सुशील मोची यहां का कुख्यात अपराधी रहा है। अपने गिरोह के साथ वह पूर्णिया-कटिहार और किशनगंज के साथ-साथ बंगाल और अन्य जगहों पर भी अपराध करता था। वह कई मामलों में वांछित था।"
कटिहार जेल में बंद रहने के दौरान भी मोची लगातार अपराध करता रहा।
खास बात यह है कि अमौर थाना क्षेत्र के खाड़ी महीनगांव के मुखिया साबिर आलम के घर डकैती की साजिश उसने ही रची थी, जिससे उसके व्यापक आपराधिक नेटवर्क का पता चलता है।
शर्मा ने बताया, "जांच के दौरान पुलिस ने अमौर के असद मदनी और मोची की पत्नी पूनम देवी को गिरफ्तार किया, जो सीधे तौर पर अपराध में शामिल थे। लूटे गए पैसे और अन्य सामान बरामद कर दोनों को जेल भेज दिया गया।"