श्री फतेहगढ़ साहिब/21 फरवरी:
(रविंदर सिंह ढींडसा)
देश भगत यूनिवर्सिटी ने अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस बड़े उत्साह के साथ मनाया, जिसमें भाषाई विविधता और सांस्कृतिक विरासत के महत्व पर जोर दिया गया। इस कार्यक्रम में चांसलर डॉ. ज़ोरा सिंह, प्रो-चांसलर डॉ. तजिंदर कौर, चांसलर के सलाहकार डॉ. विरिंदर सिंह सहित कई गणमान्य व्यक्ति मौजूद थे।इस कार्यक्रम में पंजाबी यूनिवर्सिटी पटियाला से डॉ. दर्शन सिंह आशट, खालसा कॉलेज पटियाला से डॉ. गुरदीश कौर और माता सुंदरी यूनिवर्सिटी कॉलेज मानसा की प्रिंसिपल डॉ. बरिंदर कौर समेत कई जाने-माने विशेषज्ञ वक्ताओं ने मातृभाषाओं के महत्व पर अपने विचार व्यक्त किए। ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी के प्रो. प्रीतम सिंह भी वर्चुअली इस कार्यक्रम में शामिल हुए और उन्होंने भाषाई विरासत और भाषा संरक्षण की वैश्विक आवश्यकता पर अपने विचार साझा किए।विशेषज्ञ वक्ताओं ने मातृभाषाओं के इतिहास के बारे में लोगों को जानकारी दी और सांस्कृतिक पहचान, संचार और बौद्धिक विकास को आकार देने में उनकी भूमिका पर जोर दिया। उन्होंने वैश्वीकरण के दौर में देशी भाषाओं को बढ़ावा देने और उनकी सुरक्षा की आवश्यकता पर प्रकाश डाला।अपने संबोधन में चांसलर डॉ. ज़ोरा सिंह और प्रो-चांसलर डॉ. तजिंदर कौर ने सांस्कृतिक और भाषाई परंपराओं को संरक्षित करने के लिए यूनिवर्सिटी की प्रतिबद्धता पर जोर देते हुए कहा, कि मातृभाषा व्यक्तिगत और सामाजिक पहचान की नींव होती है। इसे गर्व के साथ भावी पीढिय़ों तक पहुंचाना हमारी जिम्मेदारी है।इस दौरान पूर्वोत्तर भारत और दक्षिण अफ्रीका से आए छात्रों ने भी अपनी मातृभाषाओं पर विचार व्यक्त किए। इस कार्यक्रम का संचालन धरमिंदर सिंह, डॉ. रेणु शर्मा, डॉ. ज्योति शर्मा द्वारा किया गया। इस अवसर पर यूनिवर्सिटी के विद्यार्थियों द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम भी प्रस्तुत किया गया।